पृथ्वीको अगर बचाना है तो पहले जल,जंगल और पर्यावरण को बचाना होगा,अश्वनी महाजन

पर्यावरण की करें रक्षा,तभी होगी जीवन की सुरक्षा,ग्रीन पेंशन क्लब

कपूरथला(राजेश सेठी/हरप्रीत सिंह पूर्वा)पृथ्वीको अगर बचाना है तो पहले जल,जंगल और पर्यावरण को बचाना होगा।जंगलों की कटाई,जल का अवैध रूप से दोहन और पर्यावरण को पहुंचाए जा रहे नुकसान से मानव जीवन पर संकट मंडरा रहा है।ग्लेशियर पिघल रहे हैं।ओजोन परत क्षतिग्रस्त हो रही है।इसके चलते तापमान कई गुना बढ़ गया है।यह बात रविवार को पर्यावरण को सुरक्षित बनाए रखने के उद्देश्य को लेकर पिछले लंबे समय से कार्य कर रहे ग्रीन पेंशन क्लब के प्रधान अश्वनी महाजन ने कही।उन्होंने कहा कि हमें पानी के तीनों रूपों को बचाना है।तापमान को नियंत्रित करने के लिए अधिक से अधिक पौधे लगाकर उनका संरक्षण करना और जंगलों को भी सुरक्षित करना होगा।यह हर व्यक्ति की जिम्मेदारी है।उन्होंने कहा कि पर्यावरण की सुरक्षा से ही मानव जीवन की रक्षा संभव है।जंगल व पहाड़ों के होने से ही पर्यावरण सुरक्षित रहेगा।वृक्षों की हो रही अंधाधुंध कटाई ने हमारे चारों तरफ के वातावरण को मानव जीवन के लिए खतरनाक बना दिया है।पर्यावरण असुरक्षित होने का कारण केवल मानव जीवन पर ही नही,अपितु इसका विपरीत प्रभाव मानसून पर भी पड़ता है।इसी का परिणाम है कि असमय बारिश से कृषि कार्य प्रभावित हो रहा है।ऐसे में पर्यावरण सुरक्षित बनाए रखने,वनों की सुरक्षा के अलावा बड़े पैमाने पर पौधरोपण की दिशा में कार्य करना होगा।अश्वनी महाजन ने कहा कि हमारे जीवन की सुरक्षा से महत्वपूर्ण और कोई अन्य कार्य नही हो सकता।जीवन में प्राप्त भौतिक सुविधाओं का भोग करने के लिए भी मानव का स्वस्थ होना आवश्यक है। मानव शरीर को सीधे तौर पर प्रभावित करने वाले कारकों में पर्यावरण प्रदूषण भी शामिल है।इससे निजात के लिए हम सभी को अपने घर से शुरूआत करनी होगी।यदि हर घर का एक सदस्य पौधरोपण की दिशा में कार्य करना प्रारंभ कर दे तो हमारे चारों ओर हरियाली दिखेगी।उन्होंने बताया कि वह व्यक्तिगत तौर पर पौधरोपण को बढ़ावा देने के साथ सभी सार्वजिनक कार्यक्रमों में भी लोगों को ऐसा करने के लिए प्रेरित करते हैं। पर्यावरण संकट से निजात के लिए हर स्तर पर प्राथमिकता के तौर पर निरंतर प्रयास करना होगा।दूसरों की पहल का इंतजार करने के बजाय स्वयं इस दिशा में आगे बढ़ें।उन्होंने जागरूकता के माध्यम से पर्यावरण पर छाए संकट के बारे में लोगों को जानने तथा इसमें सुधार करने की सोच को विस्तार मिल सकता है।


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